Monday, October 5, 2015

एक मीठा ,पका ,ताजा फल

एक मीठा ,पका ,ताजा फल
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एक वृक्ष पर , बहुत मीठा , सुंदर सा एक फल लगा दिखाई देता है ,उसे देख ,देखने वाले के मन में ये अलग-अलग विचार आ सकते हैं -
1. इस फल को तोड़ ,मै खा लूँ  (सामान्य सोच )
2. यह फल , तोड़ मै , अपने बच्चे को खिला दूँ ( जिम्मेदार सोच)
3. यह फल , जिसके आँगन में वृक्ष है उसे खाना चाहिए (तार्किक सोच)
4. यह फल , स्वयं या घर परिवार के लिए खरीद लूँ ( धनवान की सोच )
5. यह फल उसे खाने को  मिल जाये , जो खाना नहीं मिलने से कई दिन से भूखा है (आदर्श सोच )
6. उस रोगी को खाने मिल जाए , जो और कुछ पचा नहीं पा रहा है , जिसके लिए यह फल सुपाच्य और पौष्टिकता देने वाला है ( न्यायिक ,आदर्श सोच)
अच्छे और सभ्य समाज में अधिकता , क्र. 4 से 6 तरह के विचार वालों की होगी , 2 एवं 3 तरह के विचार वालों की अधिकता से एक सामान्य समाज बनता है। जबकि जिस समाज में क्र 1 तरह के विचारों के धनी हों , वह समाज ,स्वार्थी और खींचतान और छल से सभी के लिए के लिए पीड़ादायक होता है।
--राजेश जैन
06-10-2015
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